Saturday, March 15, 2025

आकास संगठन ने क्रांतिकारी शहीद छितुसिंह किराड़ की मनाई जयंती  छितुसिंह किराड़ का जन्म कोस्बा फलिया ग्राम सोरवा में 21फरवरी 1834 में हुआ था

आकास संगठन ने क्रांतिकारी शहीद छितुसिंह किराड़ की मनाई जयंती 
छितुसिंह किराड़ का जन्म कोस्बा फलिया ग्राम सोरवा में 21फरवरी 1834 में हुआ था

सुनील तोमर आलीराजपुर 🖊️

आलीराजपुर:- आदिवासी कर्मचारी अधिकारी संगठन (आकास) ने जिले का गौरव महान क्रान्तिकारी शहीद छितु सिंह किराड़ की जन्म जयंती के अवसर पर छायाचित्र पर माल्यार्पण कर बड़े ही उत्साह के साथ ही सादगी पूर्णता से मनाई गईं। कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए आकास जिला भंगुसिंह तोमर ने कहा की महान क्रांतिकारी शहीद छितुसिंह किराड़ का जन्म दिनांक 21 फरवरी 1834 को कोस्बा फलिया ग्राम सोरवा तहसील कट्ठीवाडा जिला आलीराजपुर (म.प्र.)भारत में हुआ था। उन्होंने किशोर अवस्था से ही जमींदारों एवं साहूकारों की कार्य प्रणाली से बहुत ही विचलित थे,उनके खिलाफ स्थानीय टीम तैयार कर उनके द्वारा मूल मालिकों के साथ किये जा रहे करतूता पूर्ण व्यवहार एवं उनसे की जा रही भारी लूटपाट के खिलाफ अपनी आवाज को बुलंद कर पश्चिम – मध्य राठ क्षेत्र में उनका विरोध करना प्रारम्भ कर दिया गया था। उन्होंने मात्र 23 वर्ष की उम्र में भारतीय स्वतंत्रता संग्राम 1857 की क्रांति में उन्होंने अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ देश में फेल रही आंदोलन की चिंगारी में कूद पड़े। छितुसिंह किराड़ को कई क्षेत्रीय राजा राजवाडों के द्वारा भी अपने अधीन करने का प्रयास किया गया,परन्तु उन्होंने किसी की भी गुलामी स्वीकार नहीं की गईं। अपने साथी सेनापति मोहम्मद दाद साहब मकरानी के साथ मिलकर उन्होंने भुखमरी के समय में पश्चिम – मध्य भारत एवं राठ क्षेत्र की जनता की रक्षा के लिए अंग्रेजों के द्वारा भारी लूटपाट एवं अनैतिक तरिके से एकत्रित किए गए खजाने पर हमला तथा आक्रमण कर धन को लूट कर गरीब जनता में बांटते थे और उनके जीवन की सुरक्षा का कार्य करते थे, लगातार अंग्रेजी हुकूमत का विरोध,आक्रमण करने तथा उनके खिलाफ कार्य करने के कारण महान क्रांतिकारी शहीद छितुसिंह किराड़ को 1883 में उन्हें 10 वर्ष की कालापानी की सजा सुनाई गईं। उसके बाद उनके साथ क्या हुआ ? उनकी ऐतिहासिक जानकारी अभी भी अनुसंधानीय है।

अजाक्स जिलाध्यक्ष रतनसिंह रावत ने कहा कि क्रान्तिकारी शहीद छितुसिंह किराड़ एक महान व्यक्तित्व के धनी थे, ख़ुशी कि बात यह हैं कि वह अपने जिले के प्रेरणा स्त्रोत एवं गौरव थे,हम को उनके मार्गदर्शन पर चलने का संकल्प लेना चाहिए। कार्यक्रम को आकास जिला कार्यकारी अध्यक्ष केरम जमरा, उपाध्यक्ष बहदुरसिंह रावत,जिला सचिव अन्नू चौहान,करमसिंह चौहान आदि ने सम्बोधित किया। कार्यक्रम का संचालन प्रोफ़ेसर भावसिंह डावर ने किया एवं आभार रमेश डावर ने माना।इस अवसर पर आकास कि सक्रिय सदस्य शीला ओहरिया गुलाबी तोमर, मगनसिंह मोरी, कपिल नागर, पुष्पराज चौहान जीतेन्द्रसिंह चौहान, सुषमा मिश्रा आदि उपस्थित थे।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Advertisements
राशिफल
यह भी पढ़े
अन्य खबरे
error: Content is protected !!